कानपुर में छठवीं कक्षा के छात्र ने फांसी लगाकर दी जान, स्कूल में चेन जब्त किए जाने से था आहत



कानपुर: कानपुर के गोविंद नगर के दादानगर कॉलोनी में एक दर्दनाक घटना सामने आई है, जहां छठवीं कक्षा के एक 11 वर्षीय छात्र स्वास्तिक ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। घटना के वक्त उसकी मां पूजा शर्मा, जो पेशे से शिक्षिका हैं, स्कूल में थीं और पिता ऋषि शर्मा काम के सिलसिले में इटावा गए हुए थे। घर में मौजूद दादी जब उसे खाने के लिए बुलाने पहुंचीं, तो स्वास्तिक को दरवाजे के कुंडे से चुन्नी के सहारे लटका पाया।

स्वास्तिक को फौरन अस्पताल ले जाया गया, पहले निजी अस्पताल फिर हैलट, लेकिन डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। एडीसीपी योगेश कुमार ने जानकारी दी कि परिजनों की शिकायत के आधार पर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।

परिजनों के अनुसार, स्वास्तिक मंगलवार को स्कूल में अपनी चांदी की चेन पहनकर गया था, जिसे टीचर ने जब्त कर लिया था। उसका आरोप था कि बच्चा चेन को यूनिफॉर्म से बाहर निकालकर दिखा रहा था और अन्य बच्चों की शिकायत के चलते उसे जब्त किया गया। टीचर ने कहा कि चेन स्वास्तिक की मां को ही लौटाई जाएगी।

स्कूल से लौटते वक्त जब चाचा सुकांत ने उसे बाइक पर बैठने के लिए कहा, तो उसने दोस्तों के साथ घर आने की बात कहकर मना कर दिया। इसके बाद वह खुद अकेला घर आया और अपने कमरे में चला गया। आमतौर पर वह यूनिफॉर्म उतार कर दादी के पास खाना खाने आता था, लेकिन काफी देर बाद भी न आने पर दादी ने उसके कमरे में जाकर देखा, जहां यह भयावह दृश्य सामने आया।

पिता ऋषि शर्मा ने बताया कि स्वास्तिक लंबे समय से सफेद (चांदी की) चेन पहनने की जिद कर रहा था, जिसे उन्होंने 27 मई को उसके जन्मदिन पर बनवाकर दिया था। उन्होंने कहा कि उन्हें यह बिल्कुल अंदाजा नहीं था कि यह चेन उनके बेटे की जान ले लेगी।

यह घटना एक बार फिर यह सवाल खड़ा करती है कि स्कूलों में अनुशासन के नाम पर बच्चों की भावनाओं को किस हद तक नजरअंदाज किया जा सकता है। बच्चे के भीतर क्या चल रहा था, यह समझना किसी ने ज़रूरी नहीं समझा। घटना के बाद इलाके में शोक और सन्नाटा पसरा हुआ है, वहीं पुलिस मामले की जांच में जुटी है।

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